सुजानगढ़। लोहिया स्टेडियम में श्री श्याम गौसेवा मंडल के तत्वावधान में गौसेवार्थ करवा परिवार द्वारा आयोजित सात दिवसिय भागवत कथा के तीसरे दिन पूज्य श्री गोविंद किशोर पांडे महाराज श्री ने भागवत कथा में बताया की जिस व्यक्ति की मृत्यु सातवें दिन हो उसको क्या करना चाहिए ? इस वृतांत का विस्तार से वर्णन किया। कथा के तृतीय दिवस पर पर हजारों की संख्या में भक्तों ने महाराज जी के श्रीमुख से कथा का श्रवण किया। पूज्य श्री गोविंद किशोर जी महाराज ने कथा पंडाल में बैठे सभी भक्तों को भजन “मुझै ऐसी लगन तो लगा दे के तेरे बिना पल ना जिउं” श्रवण कराया”। भगवान मानव को जन्म देने से पहले कहते हैं ऐसा कर्म करना जिससे दोबारा जन्म ना लेना पड़े। मानव मुट्ठी बंद करके यह संकल्प दोहराते हुए इस पृथ्वी पर जन्म लेता है। प्रभु भागवत कथा के माध्यम से मानव का यह संकल्प याद दिलाते रहते हैं। भागवत सुनने वालों का भगवान हमेशा कल्याण करते हैं। भागवत ने कहा है जो भगवान को प्रिय हो वही करो, हमेशा भगवान से मिलने का उद्देश्य बना लो, जो प्रभु का मार्ग हो उसे अपना लो, इस संसार में जन्म-मरण से मुक्ति भगवान की कथा ही दिला सकती है।
भगवान की कथा विचार, वैराग्य, ज्ञान और हरि से मिलने का मार्ग बता देती है। राजा परीक्षित के कारण है भागवत कथा पृथ्वी के लोगो को सुनने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। समाज द्वारा बनाए गए नियम गलत हो सकते हैं किंतु भगवान के नियम ना तो गलत हो सकते हैं और नहीं बदले जा सकते हैं।साथ ही गौसेवार्थ चल रही इस भागवत मे महाराज श्री ने कहा की गौसेवा इस कलयुग मे पापों की मुक्ती का मार्ग हे। गौसेवा से बढ़कर इस कलयुग मे कोई पुण्य नही है। इस मोके पर गो सेवार्थ सहयोग करने वालो का भागीरथ करवा द्वारा आभार प्रकट किया गया। श्रीमद् भागवत कथा के चतुर्थ दिवस पर श्री राम एवं श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का वृतांत सुनाया जाएगा।इस मौके पर मानवेन्द्र मिश्रा, श्यामनारायण राठी,पवन स्वामी, दिल्ली से ब्रह्मप्रकाश करवा नरेंद्र बेदी,विमल करवा, हर्षजीत करवा, विकास पारीक सीकर,,पवन जांगिड़ लाडनू, जितेंद्र सेन सहित सैकडो श्रोतागण उपस्थित रहे।